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http://ir.nbu.ac.in/handle/123456789/4481
Full metadata record
DC Field | Value | Language |
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dc.contributor.author | बिष्ट Bisht, सन्जय Sanjay | - |
dc.date.accessioned | 2022-06-07T18:32:11Z | - |
dc.date.available | 2022-06-07T18:32:11Z | - |
dc.date.issued | 2017 | - |
dc.identifier.issn | 0976-1640 | - |
dc.identifier.uri | http://ir.nbu.ac.in/handle/123456789/4481 | - |
dc.description.abstract | यस लेखमा नेपाली भाषाको मानक रूप र त्यसको प्रयोगलाई केन्द्र गरी यसको वर्ण सामम्नायका सन्दर्भमा विगत केही समयदेखि चलिरहेको विवादलाई दृष्टि केन्द्रमा राख्तै प्राचीन संस्कृत शिक्षाशास्त्रदेखि आधुनिक नेपाली व्याकरण लेखनसम्मका उपयुक्त तथ्य र सन्दर्भहरू ग्रहण गरी प्रत्येक भाषाको आफ्नो मौलिक वर्ण व्यवस्था हुन्छ र एउटा आधुनिक भारतीय भाषाका रूपमा नेपालीको पनि आफ्नो विशिष्ट वर्ण व्यवस्था छ जुन संस्कृतलगायत अरू विभिन्न भारतीय भाषाहरूसित केही मात्रामा समान देखिने भए तापनि पूर्ण रूपले एकै र उही चाहिँ हुँदैन भन्ने वैज्ञानिक तथ्य प्रस्ट पारेर नेपाली वर्णमाला निर्णय परम्परामा रहेका असङ्गतिहरू सदृष्टान्त औँल्याउने प्रयास भएको छ । ] [ सार : यस लेखमा नेपाली भाषाको मानक रूप र त्यसको प्रयोगलाई केन्द्र गरी यसको वर्ण सामम्नायका सन्दर्भमा विगत केही समयदेखि चलिरहेको विवादलाई दृष्टि केन्द्रमा राख्तै प्राचीन संस्कृत शिक्षाशास्त्रदेखि आधुनिक नेपाली व्याकरण लेखनसम्मका उपयुक्त तथ्य र सन्दर्भहरू ग्रहण गरी प्रत्येक भाषाको आफ्नो मौलिक वर्ण व्यवस्था हुन्छ र एउटा आधुनिक भारतीय भाषाका रूपमा नेपालीको पनि आफ्नो विशिष्ट वर्ण व्यवस्था छ जुन संस्कृतलगायत अरू विभिन्न भारतीय भाषाहरूसित केही मात्रामा समान देखिने भए तापनि पूर्ण रूपले एकै र उही चाहिँ हुँदैन भन्ने वैज्ञानिक तथ्य प्रस्ट पारेर नेपाली वर्णमाला निर्णय परम्परामा रहेका असङ्गतिहरू सदृष्टान्त औँल्याउने प्रयास भएको छ । | - |
dc.language.iso | ne | en_US |
dc.publisher | University of North Bengal | en_US |
dc.subject | वर्ण Warn | en_US |
dc.subject | वर्ण समम्नाय Warn samamnay | en_US |
dc.subject | प्रातिशाख्या Pratishakkhya | en_US |
dc.subject | मानक Manak | en_US |
dc.subject | मानकिकरण Mankikaran | en_US |
dc.title | ऋक् प्रातिशाख्यको वर्ण सामम्नाय Wrik Pratishakhyako barn sammnay | en_US |
dc.title.alternative | अभिज्ञान, वर्ष ६,आङ्क ७, (जुलाई-दिसेम्बर २०१७) प्रि १-१७ Abhijnan,Vol. 6, Part- 7(July-December 2017) p 1-17 | en_US |
dc.type | Article | en_US |
Appears in Collections: | ABHIJNAN, Vol.6, No.7, (July-December 2017) |
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File | Description | Size | Format | |
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Abhijnan,Vol. 6,Part-7, July_Dec 2017_01.pdf | Wrik Pratishakhyako barn sammaoy | 116.95 kB | Adobe PDF | View/Open |
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